रायबरेली। नेशनल मेडिकल कमीशन बिल के विरोध में प्राईवेट चिकित्सक फिर से आक्रोशित हो गये हैं। मांगों को लेकर प्राईवेट चिकित्सकों की हड़ताल शनिवार को हुई। इमरजेंसी छोडक़र सभी सेवाएं बन्द रही। इससे मरीजों को परेशानी सम्भव है। आईएमए अध्यक्ष डा. एआर त्रिपाठी एवं सचिव डा. मनीष चौहान ने बताया कि बिल के विरोध में की जा रही आईएमए ने नेशनल मेडिकल कमीशन बिल का विरोध करते हुए बिल का पूर्णत: रूप अलोकतांत्रिक, गरीबों के विरूद्ध बताया। उन्होंने कहाकि इस बिल के माध्यम से भारत सरकार के समस्त अधिकारों को केन्द्रीयकृत करने का इरादा स्पष्ट दिखाई देता है। लोकतांत्रिक तरीके से चुने गए एमसीआई को समाप्त कर राष्ट्र चिकित्सा आयोग का गठन अलोकतांत्रिक है। इससे राज्य चिकित्सा का प्रतिनिधित्व पूर्ण रूप से हाशिए पर कर दिया गया है।
आईएमए पदाधिकारियों ने कहाकि यह बिल पास होता है तो विरोध प्रदर्शन के लिए बाध्य होना पड़ेगा। अन्त में सभी चिकित्सकों ने सिटी मजिस्ट्रेट आलोक कुमार को एनएमसी बिल के विरोध में एक शपथ पत्र प्रधानमंत्री के नाम सौंपा।