स्वच्छता व सुपोषण के लिए लोगों का जागरूक होना जरूरी: संजय खत्री
रायबरेली। राष्ट्रीय पोषण अभियान के अन्तर्गत सुपोषण स्वास्थ्य मेले का जिला चिकित्सालय में भव्य आयोजन किया गया। डीएम संजय कुमार खत्री, जिला पंचायत अध्यक्ष अवधेश प्रताप सिंह, पुलिस अधीक्षक सुजाता सिंह, मुख्य विकास अधिकारी राकेश कुमार ने मेले का उद्घाटन फीता काटकर एवं दीप प्रज्ज्वलित करके किया गया।
डीएम श्री खत्री ने कहा कि सुपोषण स्वास्थ्य मेले व राष्ट्रीय पोषण मिशन अभियान का उद्देश्य बच्चों, महिलाओं, किशोरियों के स्वास्थ्य व संरक्षण के प्रति जागरूकता लाना है। जिसमें किसी भी स्तर पर शिथिलता क्षम्य नहीं होगी। पोषण अभियान सुपोषण स्वास्थ्य मेला का शुभारम्भ राजधानी में प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा किया जा रहा है। यह सुपोषण स्वास्थ्य मेला जनपद के सभी जनपदों में एक साथ सीएचसी, पीएससी, उपकेन्द्र ब्लाक चिकित्सालय आदि में किया जा रहा है। डीएम ने कहा कि बाल मृत्यु, शिशु मृत्यु ज्यादा होने के कारण माता का अशिक्षित व जागरूकता न होना है। प्रदेश में 1000 बच्चे के जन्म के दौरान 42 बच्चों की मृत्यु हो जाती है। माह में एक लाख बच्चों का जन्म होता है जिसमें से 4200 बच्चों की मृत्यु हो जाती है। बच्चों की अकारण मृत्यु का ज्यादातर कारण महिलाओं का अशिक्षित व गरीब होना है। स्वास्थ्य, स्वच्छता, सुपोषण आदि कार्य को सकुशल अंजाम तक पहुंचाने के लिए सीडीओ, सीएमओ, डीपीआरओ, डीपीओ आदि विभाग एक साथ काम कर रहे हैं। उन्होंने ने कहा कि जनपद को ओडीएफ कराने के लिए अधिक से अधिक जिन घरों में शौचालय नहीं है व शौचालय बनवाये तथा उनका उपयोग करें तथा साफ-सफाई पर भी विशेष ध्यान दें अपने ईद-गिर्द गन्दगी न होने दें। उन्होंने ने कहा कि बच्चों की मृत्यु ज्यादातर डायरिया से होती है इसकी वजह यह है कि बच्चों की अच्छी देखभाल और घरों की सफाई न होने से बच्चों में इंफेक्शन फैल जाता है। जिस कारण बच्चों के स्वास्थ्य पर काफी प्रभाव पड़ता है। पुलिस अधीक्षक सुजाता सिंह ने कहा कि परिवार में महिलाओं की समस्याएं पनपने का कारण महिलों के स्वास्थ्य के बारे में खुलकर बात नहीं की जाती है और न ही उनकी पीड़ा को समझा जाता है। उन्होंने ने कहा कि महिलाएं जब गर्भावस्था में रहती है तो यह बात सभी को पता रहती है मगर इसके बारे में कोई खुलकर बात नहीं करता और न ही उसके बारे में जानकारी या सलाह लेता है। बच्चों का विकास 05 वर्षों में होने लगता है। जिला पंचायत अध्यक्ष अवधेश प्रताप सिंह ने कहा कि जहां मां अशिक्षित है वहां बच्चों की मृत्यु की अधिक संभावना होती है। सबसे पहले माता-पिता को जागरूक होना चाहिए जिससे बच्चों एवं परिवार का अच्छे से देखभाल किया जा सकता है। उन्होंने ने सीएमओ को कहा कि नशामुक्ति के लिए भी कार्यक्रम करायें। सीडीओ राकेश कुमार नेे कहा कि सुपोषण स्वास्थ्य मेेले में आय हुए लोगों से कहा कि आप लोगों स्वच्छता पर जरूर ध्यान दे, शौचालयों का प्रयोग करे, नालियों एवं घरों की साफ-सफाई पर ध्यान दें। जिससे की घरों और आपके इलाके से बिमारियां कम होगी। सीएमओ डॉ. डीके सिंह व सीएमएस एके श्रीवास्तव ने स्वास्थ्य सम्बन्धी अनेक बीमारियों से कैसे बचे विस्तार से लोगों को जानकारी दी। उन्होंने ने कहा कि माताओं को बच्चों को जन्म से लेकर छह माह तक केवल मां का दूध पिलाना चाहिए जिससे की बच्चों का बचपन से ही सम्पूर्ण विकास हो सके। कार्यक्रम को डीपीओ कन्हैयालाल आदि ने भी कार्यक्रम को संबोधित किया। संचालन सेवानिवृत्त कर्मचारी सूर्यकान्त
मिश्रा ने किया गया।