नई दिल्ली: पूर्व रक्षा मंत्री जॉर्ज फर्नांडीस का निधन हो गया है. फर्नांडीस अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार में मंत्री रहे थे. वे 88 साल के थे. उन्होंने आज दिल्ली के मैक्स अस्पताल में आखिरी सांस ली. जॉर्ज फर्नांडीस लंबे समय से बीमार चल रहे थे. आखिरी बार वो अगस्त 2009 से जुलाई 2010 के बीच तक राज्यसभा सांसद रहे थे.
फर्नांडीस अपने समय के कद्दावर नेता माने जाते हैं और उन्होंने श्रमिक संगठनों का नेतृत्व किया था. फर्नांडीस 1998 से 2004 तक राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) की सरकार में रक्षा मंत्री रहे थे. 2004 में वे नालंदा सीट से सांसद चुने गए. वे 1967 से 2004 तक 9 बार लोकसभा चुनाव चुने गए.
2009 के लोकसभा चुनाव में नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू ने उन्हें टिकट देने से इनकार कर दिया था. जॉर्ज नहीं माने और उन्होंने मुज्जफरपुर से निर्दलीय पर्चा दाखिल किया. उन्हें हार का सामना करना पड़ा.
जॉर्ज फर्नांडीस के रक्षा मंत्री रहते हुए भारत-पाकिस्तान के बीच करगिल युद्ध हुआ जिसमें भारत की जीत हुई. पोखरण परमाणु परीक्षण के समय भी फर्नांडीस ही रक्षा मंत्री थे.
वाजपेयी के अलावा जॉर्ज फर्नांडिस 1989 में वीपी सिंह सरकार में रेल मंत्री और 1977 की जनता पार्टी सरकार में संचार और उद्योग मंत्री के तौर पर काम किया. ट्रेड यूनियन नेता के तौर पर मशहूर जॉर्ज फर्नाडिंस 1967 में पहली बार सांसद बने थे. 1975 में इंदिरा गांधी की लगाई इमरजेंसी के बाद देश में नायक के तौर पर जो नेता उभरे, उनमें जॉर्ज सबसे आगे थे. 1977 में जेल में रहते हुए रिकॉर्ड वोट से लोकसभा चुनाव जीते थे.
जॉर्ज फर्नाडिंस ने 1974 में सबसे बड़ी रेल हड़ताल कराई थी, जिसके बाद इंदिरा गांधी की आंखों में खटकने लगे थे. जॉर्ज फर्नांडिस ने 1994 में जनता दल छोड़कर समता पार्टी का गठन कर लिया था.